2025-04-02 17:58:12
रेवाड़ी। भारत देश में अनेक धार्मिक मान्यताएं है। सनातनी धर्म में अलग अलग देवी देवताओं को अलग अलग तरह का प्रसाद चढ़ाने की अनूठी मान्यताएं है। किसी को 52 भोग तो किसी को शराब का प्रसाद चढ़ाते हैं, लेकिन जब श्रद्धा की बात हो तो सोचने की गुंजाइश नहीं रहती। ऐसी एक अनोखी मान्यता हरियाणा में रेवाड़ी से करीब 20 किलोमीटर दूर स्थित गांव बास दुदा में बाबा भैरु की है। सबसे बड़ी खास बात यह है कि सदियों से बाबा भैरु को शराब का भोग लगता आ रहा है। ऐसी मान्यता है नवरात्रों में देवी के साथ बाबा भैरव की पूजा होती है । शास्त्रों में देवी की कथा में इस बात का वर्णन है कि बाबा भैरव को देवी मां का वरदान मिला हुआ है कि उसकी पूजा के बाद तेरी पूजा होगी । इसलिए नवरात्र की समाप्ति के बाद बाबा भैरव कि पूजा होती है और जगह जगह बाबा के मंदिरों पर मेले भी लगते हैं ।वहीं इससे भी बड़ी बात यह है कि प्रत्येक वर्ष तीन दिवसीय मेले में लाखों भक्त हरियाणा, राजस्थान, दिल्ली, पंजाब और मध्य प्रदेश सहित अनेक राज्यों से पहुंचते हैं। इस अवसर पर प्रत्येक वर्ष बाबा के मंदिर में चढ़ावे का छोड़ा जाता है ठेका । इन तीन दिनों में लाखों लीटर शराब भोग के नाम पर एकत्रित हो जाती है। इस बार भी तीन दिवसीय मेला 7 अप्रैल से शुरू हो रहा है। मेले के संचालन के लिए प्रत्येक वर्ष ठेका छोड़ा जाता है। इस वर्ष मेले का ठेका स्थानीय निवासी नवीन कुमार को 24 लाख 10 हजार रुपए में दिया गया है। बाबा भैरू को मदिरा प्रिय है ऐसी पुरानी मान्यताओं के अनुसार मेले की सबसे बड़ी विशेषता है । कि बाबा भैरू को शराब का भोग लगाने की अनूठी परंपरा। मान्यता है कि बाबा को मदिरा प्रिय है। श्रद्धालु यहां शराब की बोतलें, तेल, सिंदूर और अन्य प्रसाद चढ़ाते हैं। देश के कई राज्यों से आने वाले लोग तीन दिन तक यहीं रुकते हैं और पूजा पाठ करते हैं। शादी के लिए दिल्ली से पहुंचेगी बारात आयोजकों ने बताया कि हर वर्ष की तरह इस बार भी भैरू बाबा की शादी के लिए दिल्ली से बारात व रेवाड़ी से भाती आएंगे। बड़े धूमधाम से बाबा भैरू का विवाह पूरी रीति-रिवाज से कराया जाता हैं। वहीं मेले की व्यवस्थाओं के लिए युवाओं की एक कमेटी बनाई गई है। कमेटी सूचना केंद्र के माध्यम से श्रद्धालुओं को जरूरी जानकारी और दिशा-निर्देश लाउडस्पीकर से देगी। मेले में सुरक्षा व्यवस्था के लिए पुलिस प्रशासन तैनात रहेगा।